प्रश्न- विधवा स्त्रीके साथ भाई और भौजाइयों (भाभी ) का कैसा व्यवहार होना चाहिये ?
उत्तर- भाई और भौजाइयोंको विधवाका हृदयसे आदर करना चाहिये, उसका तिरस्कार नहीं करना चाहिये। उसके चरित्र और भावोंकी रक्षा करते हुए उसके साथ आदरका बर्ताव करना चाहिये। उसके हितकी दृष्टिसे उसपर शासन और प्यार- दोनों ही करना चाहिये।
यह लेख गीता प्रेस की मशहूर पुस्तक “गृहस्थ कैसे रहे ?” से लिया गया है. पुस्तक में विचार स्वामी रामसुख जी के है. एक गृहस्थ के लिए यह पुस्तक बहुत मददगार है, गीता प्रेस की वेबसाइट से यह पुस्तक ली जा सकती है. अमेजन और फ्लिप्कार्ट ऑनलाइन साईट पर भी चेक कर सकते है.