UPS vs NPS: गणना, फायदे और सही चुनाव – 30 सितंबर 2025 की नई डेडलाइन से पहले समझिए सबकुछ

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UPS और NPS क्या हैं?

भारत में रिटायरमेंट के लिए दो प्रमुख योजनाएं चर्चा में हैं – UPS (Unfunded Pension Scheme) और NPS (National Pension System)। UPS पारंपरिक सरकारी पेंशन स्कीम है, जिसमें रिटायरमेंट के बाद पूरी जिंदगी निश्चित पेंशन मिलती है। वहीं, NPS एक मार्केट-लिंक्ड पेंशन स्कीम है, जिसमें पेंशन का पैसा निवेश होता है और रिटर्न मार्केट पर निर्भर करता है।

UPS: पारंपरिक पेंशन का भरोसा

UPS यानी Unfunded Pension Scheme, सरकारी कर्मचारियों के लिए पुरानी पेंशन योजना है। इसमें कर्मचारी की सैलरी का एक हिस्सा सरकार द्वारा पेंशन के रूप में रिटायरमेंट के बाद जीवनभर मिलता है।

  • फायदे:

    • निश्चित पेंशन, जीवनभर

    • महंगाई भत्ता (DA) के साथ पेंशन में बढ़ोतरी

    • परिवार को भी पेंशन का लाभ

  • कमियां:

    • सरकार पर वित्तीय बोझ

    • भविष्य में पेंशन की गारंटी सरकार की आर्थिक स्थिति पर निर्भर

NPS: आधुनिक, निवेश आधारित पेंशन

NPS (National Pension System) एक योगदान आधारित योजना है, जिसमें कर्मचारी और नियोक्ता दोनों योगदान करते हैं। यह पैसा विभिन्न निवेश विकल्पों में लगता है और रिटायरमेंट के समय एकमुश्त राशि व मासिक पेंशन मिलती है।

  • फायदे:

    • निवेश पर उच्च रिटर्न की संभावना

    • टैक्स में छूट

    • ट्रांसपेरेंसी और पोर्टेबिलिटी

  • कमियां:

    • रिटर्न मार्केट पर निर्भर

    • पूरी जिंदगी के लिए निश्चित पेंशन नहीं

UPS vs NPS: गणना और तुलना

1. योगदान और पेंशन की गणना

UPS में:

  • कर्मचारी को रिटायरमेंट के बाद अंतिम सैलरी का 50% तक पेंशन मिलती है।

  • महंगाई भत्ता (DA) भी पेंशन में जुड़ता है।

  • उदाहरण: अगर अंतिम वेतन ₹1,00,000 है, तो पेंशन ₹50,000 + DA होगी।

NPS में:

  • कर्मचारी और नियोक्ता दोनों मिलकर बेसिक+DA का 10% योगदान करते हैं।

  • यह राशि विभिन्न फंड्स में निवेश होती है।

  • रिटायरमेंट पर कुल फंड का 60% एकमुश्त निकाल सकते हैं, बाकी 40% से एन्युटी खरीदनी होती है, जिससे मासिक पेंशन मिलती है।

  • पेंशन की राशि निवेश के रिटर्न और एन्युटी दर पर निर्भर करती है।

2. रिटर्न और जोखिम

  • UPS: कोई निवेश जोखिम नहीं, पेंशन निश्चित है।

  • NPS: मार्केट के अनुसार रिटर्न बदलता है, लेकिन लंबी अवधि में औसतन 8-10% तक रिटर्न मिल सकता है।

3. टैक्स लाभ

  • UPS: पेंशन पर टैक्स लगता है।

  • NPS:

    • योगदान पर धारा 80CCD(1), 80CCD(1B) और 80CCD(2) के तहत टैक्स छूट।

    • रिटायरमेंट पर निकाले गए 60% तक फंड टैक्स फ्री, एन्युटी पर टैक्स लगता है।

4. महंगाई से सुरक्षा

  • UPS: पेंशन में DA के कारण महंगाई के अनुरूप बढ़ोतरी होती है।

  • NPS: पेंशन फिक्स है, महंगाई के अनुसार नहीं बढ़ती।

5. उत्तराधिकार लाभ

  • UPS: कर्मचारी की मृत्यु के बाद परिवार को पेंशन मिलती है।

  • NPS: एन्युटी विकल्प चुनने पर परिवार को पेंशन मिल सकती है, लेकिन UPS जितनी गारंटी नहीं।

कौन-सा चुनें? UPS या NPS?

UPS चुनें अगर:

  • आप निश्चित पेंशन चाहते हैं।

  • महंगाई के अनुसार पेंशन में बढ़ोतरी जरूरी है।

  • परिवार को भी पेंशन सुरक्षा चाहिए।

NPS चुनें अगर:

  • आप निवेश में जोखिम लेने को तैयार हैं।

  • लंबी अवधि में ज्यादा रिटर्न चाहते हैं।

  • टैक्स में ज्यादा छूट चाहिए।

  • आप प्राइवेट सेक्टर में हैं या सरकारी UPS उपलब्ध नहीं है।

UPS और NPS में गणना का उदाहरण

मान लीजिए, किसी कर्मचारी की अंतिम सैलरी ₹1,00,000 है और उसने 30 साल नौकरी की है।

UPS में:

  • पेंशन = ₹1,00,000 x 50% = ₹50,000 प्रति माह

  • DA के साथ यह राशि और बढ़ सकती है।

NPS में:

  • 10% योगदान (कर्मचारी+नियोक्ता) = ₹10,000 प्रति माह

  • 30 साल में कुल निवेश = ₹10,000 x 12 x 30 = ₹36,00,000

  • अगर औसत रिटर्न 9% मानें, तो रिटायरमेंट पर फंड लगभग ₹1.5 करोड़ हो सकता है।

  • 60% (₹90 लाख) एकमुश्त निकाल सकते हैं, 40% (₹60 लाख) से एन्युटी खरीदनी होगी।

  • एन्युटी दर 6% मानें, तो पेंशन = ₹60 लाख x 6%/12 = ₹30,000 प्रति माह

यहां UPS की पेंशन NPS से ज्यादा है, लेकिन NPS में एकमुश्त राशि का लाभ भी है।

UPS vs NPS: कौन किसके लिए बेहतर?

  • सरकारी कर्मचारी: UPS ज्यादा सुरक्षित और लाभकारी।

  • निजी क्षेत्र कर्मचारी: NPS ही विकल्प है।

  • युवा निवेशक: NPS में लंबी अवधि में ज्यादा रिटर्न की संभावना।

  • महंगाई से सुरक्षा: UPS में DA के कारण बेहतर सुरक्षा।

नई डेडलाइन 30 सितंबर 2025: क्या करें?

सरकार ने UPS-NPS विकल्प चुनने की अंतिम तारीख 30 सितंबर 2025 तय की है।

  • अगर आप सरकारी कर्मचारी हैं और UPS के पात्र हैं, तो इस तारीख से पहले निर्णय लें।

  • सभी पहलुओं – पेंशन की गारंटी, महंगाई से सुरक्षा, टैक्स लाभ, और परिवार के लिए सुरक्षा – को ध्यान में रखकर ही फैसला करें।

निष्कर्ष: सही चुनाव कैसे करें?

  • UPS और NPS दोनों की अपनी-अपनी खूबियां और कमियां हैं।

  • UPS में निश्चितता और महंगाई से सुरक्षा है, NPS में निवेश और टैक्स लाभ।

  • अपनी उम्र, जोखिम लेने की क्षमता, परिवार की जरूरत और भविष्य की योजनाओं को ध्यान में रखकर ही निर्णय लें।

  • अंतिम तारीख से पहले सभी गणनाएं और विकल्प अच्छी तरह समझ लें।

अक्सर पूछे जाने वाले सवाल

1. UPS और NPS में कौन-सी योजना ज्यादा सुरक्षित है?UPS ज्यादा सुरक्षित है क्योंकि इसमें पेंशन की गारंटी है।2. NPS में निवेश पर कितना रिटर्न मिल सकता है?लंबी अवधि में औसतन 8-10% सालाना रिटर्न मिल सकता है, लेकिन यह मार्केट पर निर्भर करता है।3. UPS में पेंशन पर टैक्स लगता है क्या?हां, UPS की पेंशन पर टैक्स लगता है।4. NPS में टैक्स छूट कैसे मिलती है?NPS में 80CCD(1), 80CCD(1B), और 80CCD(2) के तहत टैक्स छूट मिलती है।5. UPS और NPS में परिवार को पेंशन मिलती है?UPS में परिवार को पेंशन मिलती है, NPS में एन्युटी विकल्प के अनुसार परिवार को पेंशन मिल सकती है।

अंतिम सलाह

UPS और NPS दोनों योजनाएं आपके भविष्य को सुरक्षित करने के लिए बनी हैं। सही चुनाव आपके व्यक्तिगत हालात, जरूरतों और प्राथमिकताओं पर निर्भर करता है। नई डेडलाइन से पहले अपनी वित्तीय स्थिति, परिवार की जरूरत और भविष्य की योजनाओं का आंकलन करें और सोच-समझकर निर्णय लें1

आकर्षक हिंदी हेडिंग:UPS vs NPS: कौन-सी पेंशन योजना है आपके लिए बेस्ट? जानें गणना, फायदे और सही चुनाव का आसान तरीका!

  1. https://economictimes.indiatimes.com/wealth/invest/ups-vs-nps-calculation-still-undecided-here-are-numbers-to-help-you-decide-c

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